Dairy Farming

डेयरी फार्मिंग

गाय या भैंस को वैज्ञानिक तरीके से पालकर उनसे दूध उत्पादन करना और दूध से बने उत्पादों (घी, पनीर, दही, मक्खन आदि) का व्यापार करना डेयरी फार्मिंग कहलाता है।

🌟 डेयरी फार्मिंग के फायदे

  1. रोज़ाना स्थायी आय का साधन।
  2. दूध और डेयरी उत्पादों की हमेशा मांग रहती है।
  3. गोबर से बायोगैस और खाद बनाकर खेती में उपयोग।
  4. सरकार की योजनाओं और बैंक से लोन व सब्सिडी उपलब्ध।
  5. छोटे स्तर से शुरू करके बड़े फार्म तक बढ़ाया जा सकता है।

🏡 डेयरी फार्मिंग कैसे करें?

  1. नस्ल का चुनाव (Breed Selection)
  • गाय: साहिवाल, गीर, थारपारकर, रेड सिंधी, होल्सटीन फ्रिज़ियन (HF), जर्सी।
  • भैंस: मुर्रा, मेहसाना, जाफराबादी, नली-रावी।
    👉 विदेशी नस्लें (HF, जर्सी) ज्यादा दूध देती हैं लेकिन इनकी देखभाल अधिक चाहिए।
  1. शेड/आवास
  • साफ, सूखा और हवादार होना चाहिए।
  • हर पशु के लिए 40–50 वर्ग फुट जगह।
  • ठंड और गर्मी से बचाव के लिए छत पर व्यवस्था।
  • पानी की निकासी और गोबर प्रबंधन का ध्यान रखें।
  1. भोजन (Feed & Fodder)
  1. हरा चारा – नेपियर घास, बरसीम, लुसर्न।
  2. सूखा चारा – भूसा, पुआल।
  3. कंसंट्रेट फीड – चोकर, खली, मक्का, सोयाबीन, मिनरल मिक्सचर।
  4. दूध देने वाली गाय/भैंस को रोज़ाना:
    • 20–25 किलो हरा चारा
    • 5–6 किलो सूखा चारा
    • 3–5 किलो दाना
      👉 नियम: हर 2.5 लीटर दूध उत्पादन पर 1 किलो दाना।
  1. पानी
  • पशु को प्रतिदिन 50–70 लीटर साफ पानी चाहिए।
  • गर्मियों में ठंडा पानी और सर्दियों में गुनगुना पानी अच्छा रहता है।
  1. प्रजनन (Breeding)
  • हीट (गर्मी) आने पर 12–18 घंटे के भीतर कृत्रिम गर्भाधान कराएँ।
  • एक स्वस्थ गाय/भैंस हर साल एक बच्चा देती है।
  1. स्वास्थ्य देखभाल
  • समय-समय पर टीकाकरण (FMD, HS, BQ, ब्रूसेलोसिस)।
  • हर 3–4 महीने में कीड़े निकालने की दवा (deworming) दें।
  • शेड और बर्तनों की नियमित सफाई करें।
  • बीमार पशु को अलग रखें।

🥛 दूध उत्पादन

  • देशी नस्ल की गाय: 8–10 लीटर प्रतिदिन।
  • जर्सी/HF गाय: 15–25 लीटर प्रतिदिन।
  • मुर्रा भैंस: 8–15 लीटर प्रतिदिन।

💰 मुनाफा (एक उदाहरण – 10 गायों का फार्म)

  • खर्च (गाय खरीद, चारा, दवा, मजदूरी) = ₹8–10 लाख
  • दूध उत्पादन: 10 गाय × 12 लीटर/दिन = 120 लीटर
  • दूध का भाव ₹40/लीटर ⇒ ₹4,800/दिन
  • सालाना आय = ₹17–18 लाख
  • खर्च घटाने के बाद शुद्ध मुनाफा = ₹6–7 लाख/साल
👉 इसके अलावा गोबर से खाद व बायोगैस बनाकर अतिरिक्त कमाई।

📝 ध्यान रखने योग्य बातें

  1. हमेशा स्वस्थ और अच्छी नस्ल के पशु खरीदें।
  2. हरा चारा सालभर उपलब्ध रखने के लिए चारा फसल बोएं।
  3. पशु को समय पर दाना-पानी और आराम दें।
  4. सरकारी योजनाओं (डेयरी उद्यमिता विकास योजना – DEDS, NABARD) का लाभ उठाएँ।
  5. दूध की बिक्री सीधे ग्राहकों या दुग्ध संघ/डेयरी कंपनियों को करें ताकि बेहतर दाम मिले।

निष्कर्ष:

डेयरी फार्मिंग एक स्थिर और लंबे समय तक लाभ देने वाला व्यवसाय है। सही नस्ल, संतुलित आहार और स्वास्थ्य देखभाल से किसान आसानी से लाखों रुपये की नियमित आय कमा सकते हैं।

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